नैटली और ड्रैगन
एक बहुत बड़ा ड्रैगन नदी के ऊपर उड़ रहा था और उसकी पीठ पर एक लड़की सवार थी। नैटली ने अपनी बांहें ड्रैगन की गर्दन के चारों ओर कसकर लपेटी हुई थीं। तेज धूप में वह अपनी आंखें झपका रही थी और हंस रही थी। तीन मक्खियां पहले ही उसके मुंह में उड़ चुकी थीं, लेकिन उसे इस बात की कोई परवाह नहीं थी। ड्रैगन तेजी से उड़ रहा था और नैटली के घुंघराले बाल हवा में लहरा रहे थे। वह बहुत अद्भुत था!
तभी उसने घंटी बजने की आवाज सुनी। क्या यह बर्फगाड़ी थी? या दरवाजे की घंटी?
“ओह, यह मेरी अलार्म घड़ी है!” नैटली को अपने सपने में एहसास हुआ।
और वह सही थी। सुबह हो चुकी थी और उसकी अलार्म घड़ी उसे जगाने के लिए बज रही थी। ड्रैगन के बारे में उसका सपना धुंधला गया था। नैटली ने जम्हाई ली और अपनी ड्रैगन के अंडे वाली अलार्म घड़ी को बंद करने के लिए हाथ बढ़ाया। वह अपने गुलाबी ड्रैगन-पैटर्न वाली नरम रजाई के नीचे से बाहर निकली और अंगड़ाई ली। फिर उसने अपनी शेल्फ पर रखे सारे खिलौने वाले ड्रैगनों को इस तरह घुमाया कि लगा मानो वे खिड़की से बाहर देख रहे हों। उसने अपने तकिए पर रखे ड्रैगन को दोस्ताना अंदाज में थपकी दी और तैयार होने चली गई। नाश्ते के बाद, उसने अपना स्कूल बैग उठाया, जिस पर बने दो ड्रैगन आग उगल रहे थे, और अपनी मां के साथ कार में बैठ गई। नैटली को सुबह इस तरह कार में बैठकर जाना बहुत अच्छा लगता था। वह खुशी से अपने पैर हिलाने लगी और खिड़की से बाहर देखने लगी कि उस सुबह क्या हो रहा था।
पहली चीज जो उसने देखी, वह था सड़क के पास लगा ड्रैगन के साथ एक रोमांच के…